रायपुर। पंडित जवाहर लाल नेहरू स्मृति चिकित्सा महाविद्यालय एवं इंडियन रेडियोलॉजिकल एंड इमेजिंग एसोसिएशन के संयुक्त तत्वाधान में आईआरआईए छत्तीसगढ़ चेप्टर का बारहवां वार्षिक सम्मेलन 12 और 13 अक्टूबर को लाभांडी स्थित हॉटल एम्ब्रोशिया में रखा गया हैं।
इस सम्मेलन में देश के विभिन्न हिस्सों से आये वरिष्ठ रेडियोलॉजिस्ट्स एवं विशेषज्ञ चिकित्सा क्षेत्र में रेडियोलॉजी जांच की नई तकनीक एवं उसके नैदानिक उपयोगिता पर प्रकाश डालेंगे। डॉ.भीमराव अम्बेकर स्मृति चिकित्सालय के रेडियोडायग्नोसिस विभाग के विभागाध्यक्ष एवं आईआरआईए छत्तीसगढ़ चेप्टर के आयोजन अध्यक्ष डॉ. एसबीएस नेताम ने बताया है कि रेडियोलॉजी चिकित्सा विज्ञान का अभिन्न अंग है।
किसी भी बीमारी के इलाज में रेडियोलॉजी चिकित्सक के लिए आंख का काम करती है। इस सम्मेलन का उद्देश्य रेडियोलॉजी की नई तकनीकी के साथ विभिन्न बीमारियों की जांच से संबंधित जानकारी एवं उसमें शामिल उन्नत प्रौद्योगिकी से अवगत कराना है। सम्मेलन के संदर्भ में जानकारी देते हुए आयोजन सचिव डॉ. विवेक पात्रे ने बताया कि बारहवें वार्षिक सम्मेलन में ओड़ीशा, नागपुर और मध्यप्रदेश सहित अन्य राज्यों के रेडियोलॉजिस्ट भाग ले रहे हैं।
शनिवार 12 अक्टूबर को सुबह 9 बजे सम्मेलन की शुरूआत होगी और इसका समापन रविवार 13 अक्टूबर को सायं 5 बजे होगा। पूरा सम्मेलन अलग-अलग वैज्ञानिक सत्रों में विभाजित है। ज्ञात हो कि आईआरआईए देश के पेशेवर रेडियोलॉजिस्ट्स का सबसे बड़ा समूह है।
इस सम्मेलन में विभिन्न स्थानों से रेडियोलॉजिस्ट, रेडियोलॉजी तथा इमेजिंग विज्ञान के क्षेत्र में अत्याधुनिक प्रौद्योगिकी के बारे में चर्चा करेंगे। कार्यक्रम को कुल पांच सत्रों में विभाजित किया गया है। दूसरे सत्र में टाटा मेमोरियल हॉस्पिटल मुम्बई से आये डॉ. नीलेश सबले द्वारा प्रोस्टेट के एम. आर. इमेजिंग व सोनोग्राफी पर चर्चा की जाएगी।
वहीं डॉ. मीनाक्षी ठाकुर डिम्बग्रंथि तथा गर्भाशय ग्रीवा की कोशिकाओं में होने वाले विकृति के इमेजिंग पर व्याख्यान देंगी। इसके अलावा सम्मेलन में चिकित्सा विज्ञान की हाईटेक शाखा रेडियोलॉजी में नित उभरती संभावनाओं एवं अन्य पहलूओं पर भी विशेषज्ञ चर्चा करेंगे। इस सम्मेलन के शैक्षणिक सत्र के अध्यक्ष डॉ. चंद्रिका साहू, डॉ. आनंद जायसवाल, डॉ. राजेश सिंह तथा सहयोगी डॉ. विशाल जैन हैं।
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