(महत्वपूर्ण) छत्तीसगढ़ : लॉकडाउन हटेगा या नहीं…! मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने कहा- 12 के बाद होगा निर्णय…

रायपुर। मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने आज एक बड़ा ऐलान करते हुए कहा कि छत्तीसगढ़ में लॉकडाउन बढ़ाना है अथवा नहीं इस बात का फैसला 11 अप्रैल को प्रधानमंत्री से होने वाले वीडियो कान्फे्रसिंग और इसके बाद मंत्रिमंडल की बैठक के बाद लिया जाएगा।
मुख्मयंत्री भूपेश बघेल ने आज एक वीडियो कान्फे्रंस में उक्त ऐलान करते हुए कहा कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी 11 अप्रैल को देश के सभी मुख्यमंत्रियों से वीडियो कान्फे्रंसिंग कर महत्वपूर्ण विषयों पर चर्चा करने वाले हैं। इस वीडियो कान्फे्रंस के बाद वे स्वयं अपने मंत्रिमंडल व आल अफसरों के साथ एक बैठक करेंगे। मुख्यमंत्री श्री बघेल ने बताया कि इस महत्वपूर्ण बैठक में मंत्रिमंडल के सदस्यों, वरिष्ठ प्रशासनिक अधिकारियों से वे 14 अप्रैल के बाद छत्तीसगढ़ में लॉकडाउन को बढ़ाने अथवा खत्म करने के विषय में चर्चा करने वाले हैं। कैबिनेट सदस्यों व वरिष्ठ अधिकारियों से प्राप्त सुझावों पर मंथन होगा और इसके बाद निर्णय लिया जाएगा।
सीएम श्री बघेल ने कहा कि प्रदेश के हालात और वर्तमान स्थिति पर हर तरीके से चर्चा करेंगे। हमारी तैयारी, क़ानून व्यवस्था, राशन, स्वास्थ्य सुविधाएं जैसे सभी महत्वपूर्ण विषयों पर चर्चा करने, वर्तमान परिस्थितियों का आंकलन करने, प्राप्त परिणामों के विश्लेषण करने, भविष्य में इससे क्या हो सकता है, जैसे सभी विषयों पर गंभीरता से मंथन होगा। इसके बाद ही यह निर्णय लिया जाएगा कि छत्तीसगढ़ में लॉक डाउन आगे बढ़ाया जाएगा अथवा कम किया जाएगा। मुख्यमंत्री ने यह भी संकेत दिया है कि राज्य के ऐसे जिले जहां हालात सामान्य हैं, उन्हें राहत दी जा सकती है। यह सारा निर्णय अब 12 अप्रैल को होने वाले बैठक के बाद ही लिया जाएगा। उन्होंने बताया कि राज्य सरकार प्रदेशवासियों को पूरी सुविधा देने तथा जनता को किसी भी प्रकार की परेशानी न हो, इसके लिए पूरी तरह से कार्यरत है। लॉकडाउन की अवधि में अभी तक प्रत्येक जरूरतमंदों तक मदद पहुंचाई गई है। यही नहीं प्रदेश के लोग जो अन्य राज्यों में फंसे हैं, उन्हें भी संबंधित राज्य के अधिकारियों से संपर्क कर पूरी मदद पहुंचाई जा रही है। उन्होंने कहा कि राज्य में जितने भी संदिग्ध मिले हैं, उन्हें तत्काल क्वारंटाईन किया गया है। राज्य में अब तक कोरोना पीडि़तों के 11 मामले सामने आए हैं, इनमें से 9 पूर्ण स्वस्थ्य होकर अपने घर जा चुके हैं, वर्तमान में केवल दो मरीजों का उपचार चल रहा है।