पूरे देश में इन दिनों फैनी तूफान को लेकर अलर्ट जारी किया गया। ये तूफान अभी ओडिशा के समुद्र तटीय इलाकों में सक्रिय है।
फैनी शब्द सुनते ही लोगों के ध्यान में ये बात जरूर आ रही है कि आखिर फैनी तूफान का नाम फैनी कैसे पड़ गया। वैसे इसे फॉनी या फोनी तूफान भी कह रहे हैं।
तो हम आपको बता रहे हैं फैनी का मतलब…
फैनी लैटिन भाषा का शब्द है, इसका मतलब होता है मुक्त। चक्रवाती तूफान का फैनी नाम बांग्लादेश ने सुझाया है। इस नाम का चयन 64 नामों के पूल से लिया गया है।
नॉर्थ इंडियन ओशन बेसिन के आठ देश अपनी ओर से चक्रवाती तूफानों के अलग-अलग नाम सुझाते हैं। इन्हीं नामों से एक का चयन किया जाता है।
यह व्यवस्था विश्व मौसम विभाग (डब्ल्यूएमओ) ने बनाई है। क्षेत्र के लिहाज से डब्ल्यूएमओ की रीजनल ट्रोपिकल साइकलोन कमेटी इस संबंध में निर्णय लेती है। चक्रवाती तूफानों का नाम चयन करने में वर्ष के अंक का भी ध्यान रखा जाता है।
वैसे मीडिया में आ रही खबरों के मुताबिक, इस चक्रवात का नाम बांग्लादेश के सुझाव पर फणि रखा गया था और इसे वहां फोनि उच्चारित किया जाता है. इसका शाब्दिक अर्थ सांप है। देश बदलने के साथ ही शब्दों का उच्चारण भी बदलता चला जाता है।.
अंग्रेजी में इसे Fani लिखा जा रहा है जिसकी वजह से हिंदी में इसका उच्चारण फनी या फानी प्रचलित हो गया।
विश्व मौसम विज्ञान संगठन ने सबसे पहले चक्रवाती तूफानों के नाम रखने की पहल की थी। 2004 में भारत ने भी तूफानों का नाम रखने की परंपरा शुरू हुई. उत्तरी प्रशांत महासागर क्षेत्र में भारत के साथ-साथ श्रीलंका, पाकिस्तान, बांग्लादेश, मालदीव, म्यांमार, ओमान और थाइलैंड भी तूफानों के नामकरण पर सुझाव देते हैं।
इन 8 देशों की ओर से सुझाए गए नामों के पहले अक्षर के अनुसार उनका क्रम तय किया जाता है और उसी क्रम के अनुसार इन चक्रवाती तूफानों के नाम रखे जाते हैं।
पिछले साल तितली चक्रवाती तूफान ने आंध्र प्रदेश और ओडिशा के तटों पर कहर बरपाया था. इस चक्रवात का नाम पाकिस्तान ने दिया था. 2017 में चक्रवात ओखी ने केरल और तमिलनाडु में बहुत नुकसान किया था. यह नाम भी बांग्लादेश ने दिया था।
इन सभी आठ देशों ने वर्ल्ड मेट्रोलॉजिकल ऑर्गनाइजेशन को भविष्य में आने वाले तूफानों के नाम को लेकर एक सूची दी थी। इसमें से बांग्लादेश के फोनी नाम को चुना गया था। इसमें भारत ने अग्नि, बिजली, मेघ, सागर और आकाश जैसे नाम दिए थे।
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