नई दिल्ली। भारत में हर दिन कई महिलाएं यौन उत्पीडऩ का शिकार होती है। महिला सुरक्षा के लिए भारत सरकार की कोशिशें नाकाम साबित हुई है, अभी तक कोई भी सख्त कानून नहीं है। एक सर्वे के अनुसार भारत महिलाओं के लिए सबसे खतरनाक देश माना गया है।
सर्वे में भारत को महिलाओं के लिए सीरिया और अफगानिस्तान से भी ज्यादा खतरनाक बताया गया है। थॉमसन रॉयटर्स फांउडेशन के एक सर्वे के मुताबिक महिलाओं के प्रति यौन हिंसा और सेक्स धंधों में धकेले जाने के आधार पर भारत को महिलाओं के लिए भयानक बताया गया है। 550 विशेषज्ञों के द्वारा किए गए इस सर्वे में महिलाओं के प्रति यौन हिंसा के खतरों के लिहाज से एकमात्र पश्चिमी देश संयुक्त राष्ट्र अमेरिका है।
सर्वे के मुताबिक भारत मानव तस्करी और महिलाओं को सेक्स धंधों में धकेलने के लिहाज से अव्वल है। 2011 में हुए इस सर्वे के मुताबिक अफगानिस्तान, कॉन्गो, पाकिस्तान, भारत और सोमालिया महिलाओं के लिए सबसे खतरनाक देश माने गए थे। लेकिन इस साल महिलाओं के प्रति बढ़ते अपराधों के मामले में भारत आगे निकल गया और साबित हो गया कि छह साल पहले हुए निर्भया कांड के कड़े विरोध और प्रदर्शन के बावजूद महिलाओं की सुरक्षा के लिए भारत में अभी तक पर्याप्त काम नहीं किये गए। भारत में हर घंटे रेप के 4 मामले दर्ज होते है। सरकारी आंकड़ों के मुताबिक 2007 से 2016 के बीच महिलाओं के प्रति बढ़ते अपराध में 83 फीसदी का इजाफा हुआ है। ताजा आंकडों के अनुसार 2017 में देश में 28,947 महिलाओं के साथ बलात्कार की घटना दर्ज की गयी। 2015 में 34,651 महिलाओं के साथ बलात्कार मामले सामने आए। 2011 में कुल 7,112 , 2010 में 5,484 मामले दर्ज हुए थे।
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