दुनिया में एडल्ट वीडियोज का काफी बड़ा नेटवर्क है। कई वेबसाइट्स तो इसके जरिये करोड़ों का मुनाफ़ा कमाती हैं। साथ ही इसमें काम करने वाले लोग भी काफी पैसे बनाते हैं। लेकिन कुछ ऐसी ही साइट्स हैं, जो लड़कियों को ब्लैकमेल कर वीडियो बनाते हैं।
ऐसा ही एक मामला चार साल पहले कैलिफोर्निया में देखने को आया था, जहां 22 महिलाओं ने गर्ल्स डू पोर्न नाम के वेबसाइट पर उनकी सहमति के बिना वीडियो बनाकर उसे शेयर करने का आरोप लगाया था। सभी महिलाओं ने इस मामले को कोर्ट तक पहुंचाया। चार साल तक मामले की सुनवाई हुई। इसके बाद अब जाकर इसपर फैसला आया है।
कोर्ट ने इस वेबसाइट के मालिक माइकल जेम्स प्रैट और उनके पार्टनर और साइट के एक एक्टर को फरमान सुनाया कि इन महिलाओं के जो भी वीडियोज हैं, उसे वापस लौटाया जाए। और इनका कॉपीराइट महिलाओं को दिया जाए। इसके अलावा कोर्ट ने साइट को महिलाओं को 91 करोड़ रुपए देने का फरमान भी सुनाया।
22 महिलाओं ने इस वेबसाइट पर आरोप लगाया था कि सभी अलग-अलग दिन कंपनी के मालिक से मिलने होटल गई थीं। पहले उन्हें पता नहीं था कि उन्हें किस तरह का वीडियो बनाना है। जब एडल्ट वीडियो की जानकारी मिली तो उन्होंने इससे इंकार कर दिया।
लेकिन इसके बाद इन महिलाओं को हेवी ड्रग्स के डोज दिए गए और उनसे वीडियो बनवाया गया। इसके बाद इन वीडियोज को ऑनलाइन शेयर कर दिया गया। साथ ही वीडियो में उनकी पहचान भी उजागर कर दी गई। जिसकी वजह से इन महिलाओं को काफी मुश्किलों का सामना करना पड़ा।
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