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WHO की टॉप साइंटिस्‍ट ने कहा- भारतीय कोरोना वैरिएंट अधिक संक्रामक… यह वैक्‍सीन प्रतिरोधी नहीं…

नई दिल्‍ली. देश में बढ़ रहे कोरोना वायरस संक्रमण (Coronavirus) के मामलों के कारण चिंताजनक स्थिति बनी हुई है. इस बीच विश्‍व स्‍वास्‍थ्‍य संगठन (WHO) की शीर्ष वैज्ञानिक ने भारत में बढ़ रहे कोरोना मामलों को लेकर प्रतिक्रिया दी है. डब्‍ल्‍यूएचओ की चीफ साइंटिस्‍ट डॉ. सौम्‍या स्‍वामीनाथन ने कहा है कि भारतीय डबल म्‍यूटेंट कोरोना वायरस अधिक संक्रामक है, लेकिन यह वैक्सीन के प्रति प्रतिरोधक नहीं है.

डॉ. सौम्या स्वामीनाथन ने सोमवार को कहा कि एक प्रारंभिक आंकड़े से पता चला है कि भारतीय डबल म्‍यूटेंट अधिक संक्रामक है, जिससे देश में संक्रमण के मामलों में बढ़ोतरी हो रही है. उन्‍होंने इस दौरान लोगों से कोरोना वैक्‍सीन लगाने की अपील करते हुए कहा कि टीकाकरण महत्वपूर्ण है क्योंकि यह कोरोना वायरस की गंभीरता को कम करेगा.

एक इंटरव्‍यू में स्वामीनाथन ने कहा कि डबल म्यूटेशन स्ट्रेन में ब्राजील और दक्षिण अफ्रीका में पाए जाने वाले वेरिएंट शामिल हैं और यह शरीर की प्रतिरक्षा प्रतिक्रिया के लिए समझ नहीं आता है और बच निकलता है.

उन्‍होंने कहा, ‘भारत में कोरोना केस में बढ़ोतरी अधिक खतरनाक वैरिएंट के उभरने की आशंका को बढ़ाती है. प्रारंभिक आंकड़े बताते हैं कि भारतीय वैरिएंट अधिक संक्रामक है. डब्ल्यूएचओ भारत में मामलों और मौतों की संख्या के बारे में चिंतित है. विश्व स्तर पर कोरोना मामलों और मौतों की स्थिति स्थिर है. लेकिन दक्षिण एशिया में नहीं है. कुल मिलाकर संख्या यह बताती है कि क्या हो रहा है. राज्य स्थानीय स्तर के आंकड़ों में गहराई तक जाने की जरूरत है.’

भारत में उपलब्ध टीकों की प्रभावकारिता पर बोलते हुए उन्होंने आश्वासन कहा, ‘यह दिखाने के लिए कोई आंकड़ा नहीं है कि डबल म्यूटेंट वैक्सीन प्रतिरोधी है. भारत और अन्य जगहों पर उपलब्ध सभी टीके आज भी गंभीर बीमारी और मौत को रोकते हैं, भले ही आपको संक्रमण हो. वैक्सीन कहीं भी हो या कोई भी हो आप उसे ले लीजिया, अगर आप इसके लिए पात्र हैं. कृपया इसे लें.’

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