नई दिल्ली. कोरोना की वजह से आज के समय में हर किसी का झुकाव हेल्थ बीमा की तरफ ज्यादा हो गया है. अगर आप भी कोई बीमा पॉलिसी खरीदने का प्लान कर रहे हैं तो ये खबर आपके लिए जरूरी है. LIC आम आदमी बीमा योजना (Aam Aadmi Bima Yojana) के नाम से एक सामाजिक सुरक्षा की पॉलिसी चलाता है. यह योजना असंगठित क्षेत्र के कामगारों के लिए शुरू की गई है. आम आदमी बीमा योजना ‘जीवन बीमा निगम’ (LIC) द्वारा प्रशासित है. इसे भारत सरकार के वित्त मंत्रालय द्वारा लागू किया गया है.
इस योजना के तहत लाइफ इंश्योरेंस कवरेज के लाभ के साथ-साथ राज्य के ग्रामीण भूमिहीन परिवार के मुखिया को आंशिक और स्थायी विकलांगता के लिए या फिर परिवार के एक कमाऊ सदस्य को कवरेज प्रदान किया जाता है.
LIC आम आदमी बीमा योजना के लिए पात्रता
इस बीमा योजना के लिए आवेदक की उम्र 18 से 59 वर्ष के बीच होनी चाहिए. आवेदक परिवार का मुखिया होना चाहिए या घर का कमाऊ सदस्य/ गरीबी रेखा से नीचे/ गरीबी रेखा से ऊपर के वो सदस्य जो शहर में रहते हैं लेकिन उन्हें शहरी क्षेत्र का पहचान पत्र नहीं दिया गया है/ ग्रामीण भूमिहीन होना चाहिए.
योजना के लिए जरूरी दस्तावेज
LIC के मुताबिक, आम आदमी बीमा योजना से जुड़ने के लिए आवेदक को इन दस्तावेजों की जरूरत पड़ेगी. जैसे राशन कार्ड, जन्म प्रमाण पत्र, विद्यालय प्रमाण पत्र के साक्ष्य, वोटर आईडी, सरकारी विभाग द्वारा प्रदान किया गया पहचान पत्र, आधार कार्ड.
इस बीमा योजना का लाभ
>> AABY के अंतर्गत बीमा सुरक्षा की अवधि के दौरान सदस्य की प्राकृतिक रूप से मृत्यु होने पर उस समय लागू बीमा के अंतर्गत बीमाकृत राशि 30,000 रुपये नामांकित व्यक्ति की होगी.
>> अगर पंजीकृत व्यक्ति की मृत्यु एक्सीडेंट या फिर विकलांगता के कारण होती है तो पॉलिसी के हिसाब से नॉमिनी को 75,000 रुपये की राशि प्रदान की जाती है.
>> विकलांगता के मामले में पॉलिसी के ओनर या फिर नॉमिनी को 37,500 रुपये की राशि प्रदान की जाती है.
>> स्कॉलरशिप लाभ के अंतर्गत इस बीमा योजना में 9वीं से 12वीं के बीच पढ़ने वाले अधिकतम दो बच्चों को 100 रुपये प्रति बच्चे के हिसाब से स्कॉलरशिप प्रदान की जाती है. इसका भुगतान अर्ध-वार्षिक रूप से होगा.
आम आदमी बीमा योजना के लिए प्रीमियम
30,000 रुपये के बीमा के लिए प्रति व्यक्ति प्रीमियम 200 रुपये प्रति वर्ष के रूप में लगाया जाता है. जिसमें सुरक्षा निधि से 50 प्रतिशत राज्य सरकार या संघ क्षेत्र द्वारा वहन किया जाता है. तो वहीं अन्य पेशेवर समूह के मामले में शेष 50 प्रतिशत प्रीमियम नोडल एजेंसी/ सदस्य/ राज्य सरकार या संघ क्षेत्र के द्वारा वहन किया जाता है.
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