बिलासपुर। ओपोलो अस्पताल बिलासपुर से डॉक्टरों ने पूर्व विधायक अमित जोगी को अस्पताल से डिस्चार्ज करते हुए आगे उपचार के लिए मूल अस्पताल गुरुग्राम मेदांता रेफर कर दिया है।
अस्पताल के पांच सदस्यीय संयुक्त बोर्ड ने यह कहा है कि अमित जोगी के स्वास्थ्य में यहां सुधार नहीं हो रहा है इस लिए उन्हें रेफर किया जा रहा है। वहीं पार्टी ने प्रदेश सरकार पर आरोप लगाया है कि सरकार उन्हें भेजने की व्यवस्था नहीं कर रही है।
अपोलो अस्पताल के न्यूरोलॉजी विभाग के अध्यक्ष डॉ. ए.जयवेलू, हृदय विशेषज्ञ डॉ.राजीव लोचन भांजा, किडनी विशेषज्ञ डॉ. जगदीश पंड्या, आंतरिक चिकित्सा विशेषज्ञ डॉ. मनोज राय, पेशाब विशेषज्ञ डॉ जयंत कनस्कर इन पांच सदस्यीय संयुक्त बोर्ड ने मंगलवार को दोपहर में अमित जोगी को अस्पताल से डिस्चार्ज करते हुए आगे उपचार हेतु उनके मूल अस्पताल गुरुग्राम मेदांता रेफर कर दिया है।
चिकित्सकीय दल ने अपने परीक्षण के दौरान पाया कि उनके मस्तिष्क के नसों में पथरीलापन है, पेशाब करने में कम फ्लो रेट है, इस दौरान उनका सोडियम 155 से 141 हो गया है। इसके अतिरिक्त अमित जोगी की रिपोर्ट अभी तक नहीं आई है।
तथा यूरिन एवं एक्टिव हेपेटाइटिस बी और मिर्गी की चिकित्सा इलाज के लिए उन्हें मेदान्ता अस्पताल के मस्तिष्क विशेषज्ञ डॉक्टर बी पी सिंह एवं यूरिन विशेषज्ञ डॉ. हलावत और हृदय विशेषज्ञ डॉ. नरेश त्रेहान को उपचार हेतु रिफर किया गया है। अपोलो हॉस्पिटल बिलासपुर में चिकित्सा के दौरान हाई ब्लड प्रेशर नियंत्रित हो चुका है।
जोगी कांग्रेस का कहना है कि अपोलो हॉस्पिटल बिलासपुर द्वारा मेदांता गुरुग्राम में उपचार हेतु जब कल दोपहर में अमित जोगी को रिफर कर दिया गया था तो सरकार द्वारा जेल मैनुअल के कंडिका 9.4.2 के अनुरूप उन्हें उनके स्वास्थ्य को प्राथमिकता देते हुए तत्काल रेफर सेंटर पहुंचा देना चाहिए था।
किंतु अभी तक सरकार ने ना तो उक्त चिकित्सकीय दल की रिपोर्ट अधिकृत तौर पर अमित जोगी अथवा उनके परिवार को उपलब्ध कराई थी बल्कि भ्रामक जानकारी की फैला रहे है कि अमित जोगी मूल रूप से स्वस्थ हैं। फर्जी बातें जनता को गुमराह करने के लिए फैला रहे हैं।
जनता कांग्रेस छत्तीसगढ़ (जे) मांग की है कि अमित जोगी को जेएमएफसी गौरेला के आदेश, अपोलो के पांच चिकित्सकीय मंडल की रिपोर्ट तथा जेल मैनुअल के उपरोक्त प्रावधानों एवं मानवता के नाते उचित चिकित्सा एवं उपचार हेतु मेदांता गुरुग्राम पहुंचने की व्यवस्था करें। अगर सरकार ऐसा नहीं करती है तो यह सिद्ध हो जाएगा कि मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने जानबूझकर जोगी परिवार के खिलाफ किसी भी हद तक गिरकर षड्यंत्र कर सकती है।
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