रायपुर। बारिश को लेकर किसानों का विश्वास अभी भी कायम है। किसानों के मन में अभी भी संतोष है कि एक-दो दिनों में अच्छी बारिश होगी और वे खेती-किसानी में जुट जाएंगे। सावन माह को अभी 10 दिन बाकी है।
इन 10 दिनों के अंदर झमाझम बारिश हुई तो किसान अभी भी पीछे नहीं हैं। जीतोड़ मेहनत कर सप्ताह भर के अंदर रोपा-बियासी का काम निपटा सकते हैं। लेकिन इंतजार की ये घटी एक-एक दिन कर भारी पड़ रहा है।
किसानों का कहना है कि धान की फसल लगभग 120 से 130 दिन का होता है। नर्सरी लगाए लगभग 40 से 50 दिन हो गए हैं। लेकिन अभी भी नर्सरी छोटे हैं। अभी भी बारिश होती है तो रोपाई में कम से कम 15 दिन का समय लगेगा ही। रोपाई करने के कुछ दिन बाद ही बाली निकले शुरू हो जाएंगे। बाली भी छोटे आएंगे। ऐसे में उत्पान पर असर पड़ेगा।
मौसम विभाग का कहना है कि प्रदेश में मानसून सक्रिय है। पिछले एक सप्ताह से लगातार काले बादल छाए हुए हैं, लेकिन अच्छी बारिश नहीं हो रही है। बादल मंडराने से किसान आसमान की ओर टकटकी लगाए देखते रहते हैं कि अब बारिश होगी। बूंदाबांदी होने के बाद बादल साफ हो जाता है और किसान फिर मनमार कर बैठ जाते हैं।
बारिश नहीं होने से किसान चिंतित हैं। बियासी-रोपाई का काम पिछड़ रहा है। जो किसान अपने खेतों में बोआई किए हैं उनका फसल पानी के अभाव में बढ़ नहीं पा रहा है। बीच-बीच में हल्की बारिश होने के कारण धान के पौधे को जिन्दा भर रखा है।
तेज धूप के कारण फसलों में बीमारी का प्रकोप भी फैलने लगा है। साधन संपन्न किसान वर्तमान में रोपाई कर रहे हैं। आसमान के भरोसे कृषि करने वाले किसान खेतों में पानी नहीं होने की वजह से रोपाई नहीं कर पाए हैं।
मौसम विभाग से मिली जानकारी के अनुसार मानसून द्रोणिका अनुपगढ़, नरनौल, आगरा, सीधी, अंबिकापुर, संबलपुर और पूर्व मध्य बंगाल की खाड़ी तक 1.5 किमी तक विस्तारित है।
वहीं एक चक्रवात भी उत्तर पंश्चिम बंगाल की खाड़ी, तटीय आंध्रप्रदेश, तटीय ओडिशा के उपर बना हुआ है, जिसकी वजह से हल्की बारिश हो रही है। मौसम वैज्ञानिकों ने बताया है कि आगामी दो दिनों में अच्छी बारिश होगी।
किसानों को अभी भी विश्वास है कि अच्छी बारिश होगी। किसान सावन माह तक इंतजार करेंगे। अभी सावन माह को 10 दिन बाकी है। इन 10 दिनों के अंदर अच्छी बारिश नहीं हुई तो रोपा के लिए काफी विलंब हो जाएगा।
राखी के बाद बारिश होगी भी तो किसान रोपा नहीं लगाएंगे। क्याोंकि धान की नर्सरी लगाए किसानों को लगभग 40 से 50 दिन हो गए हैं। सही समय पर रोपाई का काम हो गया होता तो अभी तक पौधे जड़ पकड़ लिए होते और हरे-भरे होकर लहलहाने लग गए होते।
लेकिन पर्याप्त पानी नहीं मिलने के कारण अभी तक नर्सरी ही ठीक से तैयार नहीं हो पाया है। रोपाई में अब विलंब हुआ तो उत्पादन में कमी आएगी। साथ ही बीमारी का प्रकोप भी बढ़ जाएगा।
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