रायपुर। प्रदेश के सरकारी अस्पतालों में मरीजों को मिलने वाली दवाओं की एंट्री ऑनलाइन होगी। इससे अस्पतालों में दवाओं की स्टॉक में उपलब्धता और कमी की जानकारी की मॉनिटरिंग सीधे जिले के मुख्य स्वस्थ्य एवं चिकित्सा अधिकारी करेंगे।
प्राथमिक व सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्रों में मेडिसीन की स्टॉक की पूरी जानकारी फार्मासिस्ट अपडेट्स करेंगे। यह योजना साल भर पहले कुछ अस्पतालों में कई गई थी, लेकिन इस बार स्वास्थ्य विभाग सरकारी अस्पतालों में दवा की उपलब्धता के बाद भी मरीजों को बाहर से दवा खऱीदने की शिकायतों पर अंकुश लगा सकेगी।
जिला स्तर में सीएचएमओ ऑनलाइन ऐप के जरिये प्रतिदिन दवाओं के स्थिति को लेकर जानकारी रख सकेंगे। तमिलनाडु राज्य की तर्ज पर स्वास्थ्य विभाग के सॉफ्टवेयर में दवा स्टॉक की जानकारी, दवाईओ की एक्सपायरी डेट भी एन्ट्री रहेगी।
इसको लेकर रायपुर कलेक्टोरेट स्थित रेडक्रॉस भवन में आज सीएचएमओ डॉ के.आर. सोनवानी ने बताया कि जिले के सभी सरकारी प्राथमिक व सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्रों में कार्यरत फार्मासिस्टों व स्टोर प्रभारियों को मंथली व डेली इंडेक्स साफ्टवेयर में एंट्री करने की जानकारी दी गई।
इसके लिए तैयारी करने स्वास्थ्य विभाग के कर्मचारियों व फार्मिस्टो को एक दिवसीय ट्रेंनिग गुरुवार को दी गई। यानी अब अस्पतालों में दवाईयों का वितरण पंजी में मेनुवल एंट्री के अवाला ऑनलाइन एंट्री भी की जाएगी।
इससे सरकारी अस्पतालों में पारदर्शिता आएगी।दवाईयों के लोकल पर्चेस और सीजीएमएससी से मिलने वाले दवाइयों की जानकारी ऑनलाइन रहेगी।
डॉ. सोनवानी ने बताया कि रायपुर जिले में 8 सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र व 36 प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र हैं। शहरी क्षेत्रों में 18 व ग्रामीण क्षेत्रों में 18 प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्रों में प्रतिदिन हजारों कि संख्या में मरीजों का इलाज हो रहा है।
ऐसे में कई अस्पतालों के डॉक्टरों द्वारा गरीब व जरूरतमंद मरीजों को निजी मेडिकल स्टोर्स से लेने पर्ची थमा देते हैं। यानी लापरवाही बरतने वाले फर्मासिस्ट व डॉक्टरों पर स्वस्थ्य विभाग सख्त निगरानी भी करेगी।
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