रायपुर। कांग्रेस ने लोकसभा चुनाव की तैयारी शुरू कर दी है। चुनाव प्रचार-प्रसार के लिए खाखा तैयार किया जा रहा है। प्रदेश कांग्रेस कमेटी हर संभाग में कांग्रेस के राष्ट्रीय अध्यक्ष राहुल गांधी की सभा कराने की योजना बना रही है।
इसके लिए प्रस्ताव तैयार कर रही है। राहुल गांधी छत्तीसगढ़ में लगभग 10 सभाएं कर सकते हैं। राहुल की सभा के लिए उन विधानसभा क्षेत्रों को प्राथमिकता दी जाएगी, जहां विधानसभा चुनाव में कांग्रेस पिछड़ गई थी।
छत्तीसगढ़ में कांग्रेस की सरकार बनने के बाद यहां राहुल दो सभाएं कर चुके हैं। उनकी पहली सभा अटलनगर (नया रायपुर) और दूसरी बस्तर के धुरागांव में हुई। उनकी पहली सभा किसानों और दूसरी आदिवासियों को साधने के लिए हुई थी।
प्रदेश कांग्रेस कमेटी चाहती है कि लोकसभा चुनाव में राहुल गांधी क्षेत्रवार सभाएं करें। प्रदेश में 11 लोकसभा सीटें हैं और पीसीसी 10 सभाओं का प्रस्ताव बना रही है। मतलब, कोई दो लोकसभा क्षेत्र ऐसे हो सकते हैं, जिनके बीच में एक सभा होगी। बाकी नौ लोकसभा क्षेत्रों में एक-एक सभा हो सकती है।
राहुल की सभा के लिए पीसीसी जिस फॉर्मूले पर प्रस्ताव बना रही है, उसके आधार पर देखा जाए तो बिलासपुर संभाग में ज्यादा सभाएं कराने की आवश्यकता महसूस की गई है। इसका कारण यह है कि बिलासपुर संभाग में 24 विधानसभा सीटें हैं, जिसमें से 12 सीटों पर कांगे्रस को विधानसभा चुनाव में हार का सामना करना पड़ा।
इसमें रामपुर, मरवाही, कोटा, बिल्हा, बेलतरा, मस्तूरी, लोरमी, मुंगेली, अकलतरा, जांजगीर-चांपा, जैजैपुर, पामगढ़ शामिल हैं। बिलासपुर संभाग में ही सबसे ज्यादा चार लोकसभा सीट बिलासपुर, कोरबा, रायगढ़ व जांजगीर-चांपा है। अभी चारों लोकसभा सीटों पर भाजपा का कब्जा है। इस कारण बिलासपुर संभाग में तीन सभाएं कराने का विचार हो सकता है।
सरगुजा संभाग में केवल एक लोकसभा सीट सरगुजा है, जहां की सभी 14 सीटों पर कांग्रेस का कब्जा है। इस कारण यह हो सकता है कि सरगुजा संभाग में एक सभा कराई जाए और यहां की दूसरी सभा बिलासपुर संभाग में रख दी जाए।
रायपुर संभाग में 20 विधानसभा सीटें हैं, जिसमें से 14 कांग्रेस के पास हैं। लोकसभा सीटों की बात करें, तो रायपुर और महासमुंद है और अभी दोनों ही भाजपा के पास हैं। विधानसभा चुनाव में छह सीटों में पिछडऩे और दोनों लोकसभा सीटों पर विपक्ष का कब्जा होने के कारण रायपुर संभाग में दो सभाएं कराने का विचार हो रहा है।
दुर्ग संभाग की 20 विधानसभा सीटों में से केवल तीन वैशालीनगर, खैरागढ़ और राजनांदगांव में कांग्रेस हारी है। यहां दो लोकसभा सीट दुर्ग व राजनांदगांव है। पिछले लोकसभा चुनाव में दुर्ग में कांग्रेस और राजनांदगांव में भाजपा को जीत मिली थी। विधानसभा चुनाव की लहर को देखते हुए लोकसभा चुनाव में कांग्रेस खुद को मजबूत मान रही है। इसके बाद भी यहां राहुल की दोनों लोकसभा सीटों पर सभाएं कराने का विचार है।
आदिवासी बहुल बस्तर संभाग में दो लोकसभा सीट बस्तर व कांकेर है। पिछले चुनाव में दोनों सीटों पर भाजपा का कब्जा हुआ था। इस बार विधानसभा चुनाव में बस्तर संभाग में कांग्रेस की लहर देखने को मिली।
यहां की 12 में से 11 विधानसभा सीटों पर कांग्रेस का कब्जा हुआ है। कांग्रेस इस लोकसभा चुनाव में दोनों सीटें हथियाना चाहती है। इस कारण राहुल ने बस्तर में अभी एक सभा भी कर ली है। बस्तर और कांकेर में एक-एक सभा का प्रस्ताव बनाया जा रहा।
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