जगदलपुर। निगम में जलकर की वसूली को लेकर जो कार्रवाई चल रही है इसमें पीएचई के अधिकृत दस्तावेज जो खुलासा कर रहे हैं उसमें मंत्री बंगले से लेकर पार्षद के निजी घर और निगम अध्यक्ष पर गुरूवार की शाम तक बकाया है। इसमें से एक पार्षद ने सामान्य सभा में मामला उठने के बाद गुरूवार को अपनी पूर्ण राशि का भुगतान कर दिया है। मंत्री बंगले के नाम पर स्कूली शिक्षा मंत्री केदार कश्यप के बंगले का 24473 रूपए का जलकर बकाया है। यह बंगला निगम के रिकार्ड में डा. आरएन नेताम के नाम पर आबंटित है, इसके साथ ही कांग्रेस कमेटी के अध्यक्ष लखेश्वर बघेल के मोतीलाल नेहरू वार्ड शासकीय आवास में लगे नल का बकाया 3250 रूपए है। भाजपा पार्षद राजपाल कसेर के गांधीनर स्थित निजी घर का 4700 व निगम अध्यक्ष शेष नारायण तिवारी पर 2450 का जलकर बकाया है। साथ ही जिला पंचायत अध्यक्ष जबीता मण्डावी जो वर्तमान में दो साल से एनएस तोमर के नाम पर आबंटित शासकीय आवास में हैं उनपर 8950, भाजपा के ही पार्षद कौशिक शुक्ला पर गांधीनगर स्थित नीजि आवास पर 9200, मनोनित पार्षद उमाकांत सिंंह, दंतेश्वरी वार्ड पर 15452 रूपए का जलकर बकाया है। पीएचई के अधिकारियों की मानें तो उन्हें वसूली में सबसे अधिक समस्या तब आती है जब सरकारी आवास का किसी दूसरे के नाम आबंटन होता है। इसके अलावा कई ऐसे कनेक्शन भी हैं जिनके नाम पर ट्रांसफर नहीं किया गया है उनपर वर्तमान में दूसरे नाम से जो बकाया आता है उसकी वसूली भी नहीं होती है। बताया गया कि मोतीलाल नेहरूवार्ड की पार्षद अपर्णा अवस्थी के नाम पर भी पीएचई के रिकार्ड में 18936 रूपए का जलकर शेष है। हालांकि जब इसकी पड़ताल की गई तो पाया गया कि पार्षद के नाम पर कोई नल कनेक्शन लिया ही नहीं गया है। ऐसे मेें विभाग अब अपने अभिलेखों को दुरूस्त करने पर पाया कि यह कनेक्शन पूर्व से ही बसंत अवस्थी के नाम पर है।
नगर निगम की सामान्य सभा में पीएचई के सब इंजीनियर के द्वारा मांगी गई जानकारी का गलत जवाब दिए जाने के चलते जलकर प्रभारी वनीष दुबे, निगम अध्यक्ष शेष नारायण तिवारी के कोप के शिकार हुए। पीएचई के सबइंजीनियर वीके वानखेडे से कहा गया कि वे पहले तो टटोला जाए कि जनप्रतिनिधियों पर बकाया है कि नहीं। इसमें विशेष तौर पर पांच वार्ड का नाम भी दिया गया। सब इंजीनियर ने पांच वार्ड में जनप्रतिनिधियों के बकाया को तलाशा और बताया कि किसी भी जनप्रतिनिधि पर जलकर का कोई बकाया नहीं है। अब जो बात सामने आ रही है वो चौकाने वाली है, पीएचई विभाग का रिकार्ड दर्शाता है कि गुरूवार की शाम पांच बजे तक उनके लेजर में स्वयं निगम अध्यक्ष शेष नारायण तिवारी 2450 रूपए के देन दार हैं। अधिकारी का यह भी कहना है कि उन्होंने जब बात की थी तो बताया गया था कि मार्च माह तक के जलकर का भुगतान किया जा चुका है। हालांकि जब तक हमारे लेजर में भुगतान रसीद के आधार पर नहीं चढ़ेगा बैकलॉक बताता रहेगा।
क्या कहते हैं अधिकारी…
पीएई विभाग में जलकर के नाम पर पैसे तो लिए जा रहे हैं लेकिन दस्तावेजों और रिकार्ड में भारी लापरवाही है यही कारण है कि जलकर पटाने के बाद भी लोग बकायादार हैं। मुझे अन्य लोगो की जानकारी नहीं है लेकिन मैने खुद ही अपना पूर्ण भुगतान मार्च 18 तक किया है। बावजूद इसके मुझे पीएचई के रिकार्ड में बकायादार बताया जा रहा है। ऐसी करतूतों के चलते ही सामान्य सभा के दौरान पूर्ण परीक्षण उपरांत लापरवाह कर्मचारी पर कार्रवाई के निर्देश जारी किए गए थे।
– शेष नारायाण तिवारी, अध्यक्ष नगर निगम
आयुक्त, महापौर को है जानकारी…
हमने सर्वे करवाया था और इस दौरान घरों के नंबर और वार्ड के आधार पर जलकर बकायादारों की सूची तैयार की गई। इसमें सरकारी आवास और निजी आवास सहित व्यवसायिक उपयोग वाले नलों की जानकारी है। मैने अपनी कार्रवाई से आयुक्त और महापौर को अवगत करवाया। मुझे जिम्मेदारी सौंपे जाने के बाद से आज पर्यन्त तक जो बकाया है वो उनके सामने है। बकाया पूर्व से है, यदि भुगतान के बाद किसी तरह की गड़बड़ी पाई जाती है तो उचित कार्रवाई हो। ऐसे जनप्रतिनिधि जो निजी आवास का भुगतान नहीं कर रहे हैं उसमेंं राजपाल कसेर ने पहले नल कनेक्शन को विच्छेद करने कहा और जब कर्मचारी वहां गए तो उन्होंने उन्हें कार्रवाई से रोका। इसके बाद से उनकर जलकर जारी है।
– वनीष दुबे, जलकर प्रभारी
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