मुंबई। टीम इंडिया के कोच पद के लिए शुक्रवार को मुंबई स्थित भारतीय क्रिकेट कंट्रोल बोर्ड (बीसीसीआई) के हेडक्वार्टर में सुबह साढ़े 10 बजे इंटरव्यू शुरू हो चुका है। कपिल देव के नेतृत्व वाली क्रिकेट सलाहकार समिति (सीएसी) पर भारतीय टीम का नया कोच चुनने की जिम्मेवारी है। इस समिति में अंशुमन गायकवाड़ और शांता रंगास्वामी भी शामिल हैं।
बीसीसीआई ने टीम इंडिया के मुख्य कोच के लिए 6 नामों को शॉर्टलिस्ट किया है, जिसमें वर्तमान कोच रवि शास्त्री भी शामिल हैं। रवि शास्त्री के अलावा दो और भारतीय कोच (पूर्व क्रिकेटर लालचंद राजपूत और रॉबिन सिंह) को भी शॉर्टलिस्ट किया गया है।
टीम इंडिया के कोच के लिए ये हैं रेस में
– रवि शास्त्री (उम्र 57; 80 टेस्ट, 150 वनडे इंटरनेशनल)
– टॉम मुडी (उम्र 53; 8 टेस्ट, 76 वनडे इंटरनेशनल)
– माइक हेसन (उम्र 44; खिलाड़ी के तौर पर कोई अनुभव नहीं)
– फिल सिमंस (उम्र 56; 26 टेस्ट, 143 वनडे इंटरनेशनल)
– लालचंद राजपूत (उम्र 57; 2 टेस्ट, 4 वनडे इंटरनेशनल)
– रॉबिन सिंह (उम्र 55; 1 टेस्ट, 136 वनडे इंटरनेशनल)
इंटरव्यू के लिए लालचंद राजपूत, रॉबिन सिंह और माइक हेसन व्यक्तिगत तौर पर मौजूद रहेंगे, जबकि रवि शास्त्री समेत दो अन्य स्काइप के माध्यम से जुड़ेंगे। माना जा रहा है कि कोच पद की रेस में रवि शास्त्री सबसे आगे हैं।
जुलाई 2017 में दूसरी बार कोच बनने के बाद रवि शास्त्री की कोचिंग में टीम इंडिया ने 21 टेस्ट मैच खेले, जिसमें भारत को 13 में जीत मिली। जबकि टी-20 अंतरराष्ट्रीय मैचों में भारत ने 36 में से 25 में जीत का स्वाद चखा था।
इसी तरह वनडे की बात की जाए तो शास्त्री की कोचिंग में टीम इंडिया ने 60 मैचों में 43 में जीत हासिल की। इस तरह से दूसरे कार्यकाल में उनकी कोचिंग में भारत को कुल 81 मैचों में जीत मिली।
क्रिकेट के तीनों प्रारूपों में जुलाई 2017 के बाद भारत की जीत-हार का प्रतिशत देखें तो टेस्ट में भारत की जीत की औसत 52.38 फीसदी है, जबकि टी-20 इंटरनेशनल में 69.44 फीसदी बैठता है।
वनडे में टीम इंडिया की जीत की औसत काफी बढिय़ा रही और इसमें 71.67 की औसत रही। हालांकि यह अलग बात है कि रवि शास्त्री की कोचिंग में शानदार प्रदर्शन करने के बावजूद भारतीय टीम तीसरी बार वल्र्ड कप जीतने से चूक गई। 2015 वल्र्ड कप में भी टीम सेमीफाइनल में हार गई थी।
बीसीसीआई की ओर से नए कोच की तलाश के बीच वेस्टइंडीज दौरे पर गई टीम इंडिया की टी-20 सीरीज और वनडे सीरीज में शानदार जीत रवि शास्त्री के तीसरी बार चयन में अहम भूमिका निभा सकती है।
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