देहरादून। एक प्रसूता जिंदगी और मौत से 131 किलोमीटर तक जूझती रही। बच्चे के जन्म के दौरान अधिक रक्त स्राव के कारण प्रसूता की तबियत खराब हो गई। आनन-फानन में परिजनों ने उसे अस्पताल ले जाने की तैयारी की। क्षेत्र में सड़क नहीं होने के कारण परिजन प्रसूता को कंबल में लपेट कर बांस के डंडों में बांधकर पैदल की निकल पड़े।
इस दौरान 14 किलोमीटर की खड़ी चढ़ाई चढऩी पड़ी। उपर से मौसम खराब होने से काफी परेशानी हुई। इस दौरान प्रसूता दर्द से कराहती रही। अभी भी उसकी हालत गंभीर बनी हुई है।
देहरादून जिले की चकराता तहसील के दुर्गम गांव बुरायला में सड़क नहीं होने से प्रसूता की जान पर बन आई। कुछ दिन पूर्व रीना पत्नी रमेश निवासी बुरायला ने घर पर ही एक बच्चे को जन्म दिया। बच्चे के जन्म के दौरान अधिक रक्त स्राव के कारण प्रसूता की तबियत खराब हो गई।
मंगलवार को प्रसूता की तबियत अधिक बिगड़ी तो आनन-फानन में परिजनों ने उसे अस्पताल ले जाने की ठानी। क्षेत्र में सड़क नहीं होने के कारण परिजन रीना को बांस के डंडों में बांधकर लोखंडी रोड हैड तक 14 किलोमीटर की खड़ी चढ़ाई चढऩी पड़ी।
वह भी तब जब बरसात का मौसम होने के कारण क्षेत्र में कोहरा छाया हुआ था। ऊपर से ठंड का सितम। उन्हें रीना को कंबल में लपेट कर मुख्य सड़क तक ले जाना पड़ा। इस दौरान रीना दर्द से कराहती रही। रोड हैड पर पहुंच परिजनों ने 108 एंबुलेंस सेवा को फोन किया। जो करीब एक घंटे के बाद मौके पर पहुंच सकी।
इसके बाद परिजन रीना को करीब 72 किमी दूर सीएचसी विकासनगर ले कर पहुंचे, लेकिन यहां भी डॉक्टरों ने अधिक रकतस्राव होने के कारण रीना को हायर सेंटर रेफर कर दिया।
इसके बाद परिजन उसे लेकर विकासनगर से 45 किलोमीटर दूर देहरादून के लिए रवाना हो गए। परिजनों के अनुसार वर्तमान में रीना का देहरादून स्थित महंत इंदिरेश अस्पताल में इलाज चल रहा है। जहां उसकी हालत गंभीर बनी हुई है। गांव में सड़क न होने की वजह से रीना करीब 131 किलोमीटर तक मौत और जिंदगी के बीच जूझती रही।
ग्रामीणों का कहना है कि सड़क न होने के कारण उन्हें 14 किमी की चढ़ाई चढऩे में करीब दो घंटे का समय लग जाता है।गांव में 24 परिवार निवास करते हैं। बताया कि कई बार सड़क न होने की वजह से अस्पताल ले जाने तक लोगों की जान पर बनी रहती है। बुरायला गांव दुनवा खत अंतर्गत आता है।
इस खत में जगथान, बुरायला, मताड़, सावड़ा, भंगार, खिराड़, डाडुवा और कितरोली गांव आते हैं लेकिन, वर्तमान इन गांवों में से किसी भी गांव तक पहुंचने के लिए सड़क सुविधा नहीं है। सभी को सड़क तक पहुंचने के लिए 14 किमी की लंबी दूरी नापनी पड़ती है। सड़क निर्माण की स्वीकृति मिल गई है। जल्द ही निविदा आमंत्रित कर सड़क निर्माण का काम शुरू किया जाएगा।
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