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SECL की गेवरा परियोजना में कोविड को खुला निमंत्रण दे रहा प्रबंधन…

कोरबा : एस ई सी एल की गेवरा परियोजना नेे कोविड जैसी महामारी से निपटने के लिए लगता है कोई भी प्लान तैयार नही किया है। जिसके कारण गेवरा परियोजना में आये दिन कामगार इस महामारी से प्रभावित हो रहे हैं और अपने परिवार के लोगो की जान जोखिम में डालने के लिए मजबूर हैं।

दिन प्रतिदिन गेवरा के कॉलोनियों में कोरोना ने अपना पैर पसारते हुये कम से कम 500 से 600 लोगो को अपने चपेट में ले लिया है। बहुत से कर्मचारी एवं उनके परिजन इस महामारी में काल के गाल में समा चुके है। फिर भी गेवरा प्रवंधन के कान में जूं नही रेंग रहा है।

कामगारों की मानें तो गेवरा प्रबंधन को कई बार बोला जा चुका है कि शिफ्ट में चलने वाले सभी वाहनों को प्रत्येक शिफ्ट में सेनेटाइज किया करे, लेकिन गेवरा प्रवंधन एक छोटा सा कार्य भी अपने कर्मचारियों के बचाव में नही कर पा रहा है। ऐसे में गेवरा प्रबंधन से कुछ और उम्मीद करना अपने साथ धोखा देना होगा।

कामगारों के अनुसार हर स्तर की बैठकों में लगभग ये बात उठायी गई है कि गेवरा परियोजना में एवं उसके आसपास कई खूंखार जानवरों को विचरण करते हुए देखा गया है। धूप, बारिस ओले तूफान आदि अन्य प्राकृतिक आपदाओं से निपटने के लिए प्रत्येक कार्य स्थल पर एक शेल्टर की व्यवस्था किया जाय।

सदभाव जैसी डंपिंग क्षेत्र जो जगलो से सटे हुए हैं वहाँ रात की शिफ्ट में माइनिंग सुपर वाइजर अकेले रहने के लिए मजबूर हैं। जंगली जानवरों से या अन्य प्राकृतिक आपदाओं से निपटने के लिए सुरक्षा के लिए एक शेल्टर तक की व्यवस्था प्रवंधन नही कर पा रहा है। उससे और कुछ उम्मीद करना बेमानी होगा।

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