
जांजगीर चांपा। चुनाव नजदीक आते ही नेताओं को जनता की याद आती है। तभी नेताओं द्वारा अपने-अपने अंदाज में अपना कार्यक्रम तय कर वोटरों के पास पहुंचने की कोशिश में लगे रहते हैं। ऐसी ही जांजगीर चांपा विधानसभा के विधायक मोती लाल देवागंन आज से 20 दिवसीय पदयात्रा की शुरूवात करने जा रहे हैं। पदयात्रा कर 45 ग्रामों तक पहुंचने की कोशिश करेंगे।
आपको बता दें कि पदयात्रा के इस क्रम में कांग्रेस पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष भी एक बार जिले के कुछ क्षेत्रों मे पदयात्रा कर कार्यकर्ताओ को रिचार्ज कर चुके हैं। इसके बाद विधायक मोती देवागंन भी अपने अंदाज में कमी -बेसी को पूरा करने दुबारा पदयात्रा कर रहे हैं। इस पदयात्रा के बहाने वे वोटरों से संपर्क कर अपने क्षेत्रों में किये विकास कार्यों का बखान करते हुए हुए रमन सरकार की कमियों को गिनाएंगे। अब देखना होगा की इस पदयात्रा के बहाने वोटरो को विधायक कितना साध पाते हंै।
वैसे जांजगीर चांपा विधानसभा का इतिहास रहा है कि विधानसभा में विधायक दोबारा चुन कर नही आये है। इसी कडी में कांग्रेस विधायक अपने आप को जनता से कितना नजदीक पाते है इस पदयात्रा से पता चल जायेगा। वैसे विधायक अपने बल बुते पर ही इस पदयात्रा के शुरूवात करेगें। इस पदयात्रा मे कांग्रेस संगठन के पदाधिकारी दूरियां बनाये हुऐ हैं। विधायक के साथ संगठन के पदाधिकारीयों की दुरियां भी किसी से छिपी नहीं है, क्योंकि विधायक को संगठन से ज्यादा अपने आप पर विश्वास है। आने वाले विधान सभा चुनाव में विधायक को अपने विधानसभा से टिकिट मिलने की कोई शंका नहीं है। इसीलिए वे अपने कुछ को छोड़ कर कुछ क्षेत्रों के कार्यकार्ताओं पर ज्यादा विश्वास रखते हैं। विधायक के पदयात्रा से इस बात का अंदाज लग जायेगा कि विधायक की 5 वर्ष के कार्यकाल में किसने विकास कार्य अपने क्षेत्र के जनता के लिए किये हैं। वहीं इस बात की पता लग जायेगा कि जनता अभी भी अपने विधायक के पक्ष में है या जनता से विश्वास खो चुके हैं। विधायक देवागंन के लिए यह पदयात्रा बड़े मायने रखने वाला है। इस यात्रा से विधायक को तैयार रहना होगा कि जनता की खरी-खेाटी बात भी उन्हे सुनने को मिलेगें। कांग्रेस पार्टी मेें अभी से विधायक को टक्कर देने कई नेता अपनी शक्ति प्रदर्शन कर रहे है। जिसमें कईयों ने अपना प्रचार प्रसार की शुरूवात वाल पेंटिग कर शुरू भी कर दिये हैं. विधायक के लिए भी आने वाला विधान सभा चुनाव को पार पाना बहुत कठीन होगा. क्योकि विधायक ने अपने 4 वर्ष के कार्यकाल में बहुत विरोधियों को अपने लिए खडें कर चुके है। अब सामना भी खुद को करना होगा।