पुणे हिंसा की आग मुंबई तक

महौल बिगडऩे की साजिश-फडऩवीस
मुंबई/पुणे। पुणे के भीमा-कोरेगांव लड़ाई की सालगिरह पर हुई हिंसा से पूरे महाराष्ट्र में तनाव का माहौल है। हिंसा में एक व्यक्ति की मौत हुई थी। सरकार ने मामले की न्यायिक जांच के आदेश दिए हैं इसके बावजूद भी पूरे राज्य में हालात नहीं सुधर रहे हैं। पुणे हिंसा की आग धीरे-धीरे मुंबई की ओर भी बढ़ रही है। इस मामले पर राहुल गांधी ने किया ट्वीट कर कहा है कि आरएसएस और बीजेपी दलितों को समाज में सबसे नीचे पायदान पर रखना चाहती है। ऊना, रोहित वेमुला और भीमा कोडेगांव की हिंसा दलितों के प्रतिरोध के प्रबल उदाहरण हैं। इस बारे में महाराष्ट्र के सीएम देवेन्द्र फडणवीस ने कहा कि भीमा-कोरेगांव की लड़ाई की 200 वीं सालगिरह पर करीब तीन लाख लोग आए थे। हमने पुलिस की 6 कंपनियां तैनात की थी। कुछ लोगों ने माहौल बिगाडऩे के लिए हिंसा फैलाई। इस तरह की हिंसा को बर्दाश्त नहीं किया जाएगा। हमने न्यायिक जांच के आदेश दिए हैं। मृतक के परिवार वालों को 10 लाख के मुआवजा दिया जाएगा।
हिंसा के संबंधमें प्रकाश अंबेडकर ने कहा कि इस हिंसा के पीछे हिंदू संस्था के मिलिंद एकबोते ओर सांभाजी भिंडे का हाथ है। हम घटना स्थल पर मौजूद थे। हमें पता है कि इसके पीछे किसका हाथ है। सरकार को उनके नाम दे दिए गए है। अगर आरोपियों पर कार्रवाई नहीं हुई तो हम आंदोलन करेंगे। प्रकाश अंबेडकर ने कहा कि अगर हमने भीड़ को काबू नहीं किया होता तो कम से कम 500 हिंदू संस्था के लोगों की लाश होती। अगर बंद का आह्रवान नहीं किया होता तो आग और भड़कती। प्रकाश अंबेडकर ने दावा किया कि बुधवार का बंद शांतिपूर्ण होगा। हिंसा को हवा देने वाले सौ से ज्यादा लोगों को पुलिस ने हिरासत में लिया।
रिपब्लिकन पार्टी ऑफ इंडिया बुधवार को मुंबई के हर पुलिस में धरना देने का ऐलान किया है। हिंसा की वजह से राज्य परिवहन 134 बसों को नुकसान पहुँचा है। मुंबई पुलिस के पीआरओ का कहना है कि महत्वपूर्ण जगहों पर अतिरिक्त पुलिस बल तैनात किया गया है और मुंबई पुलिस किसी भी स्थिति से निपटने के लिए तैयार है।