नई दिल्ली। अटल बिहारी वाजपेयी एक लोकप्रिय राजनेता होने के साथ ही एक अच्छे कवि भी रहे। इसके अलावा वे खाना बढिय़ा बनाते रहे हैं। उन्हें घूमना-फिरना काफी पसंद था और वे दर्द भर नगमे सुनते थे। एक इंटरव्यू में खुद अटल बिहारी ने यह जानकारी दी थी।
इंटरव्यू में अटल बिहारी वाजपेयी से वरिष्ठ पत्रकार तवलीन सिंह ने यह सवाल किया था कि उन्हें कविता के अलावा और क्या पसंद है, तो उन्होंने कहा था, कविता के अलावा घूमना पसंद है, सागर का किनारा और हिमाचल की चोटियां मुझे आकृष्ट करती हैं। खाना अच्छा बनाता हूं। खिचड़ी, हलवा, खीर अच्छा बनाता हूं। इसके लिए वक्त निकाल लेता हूं।
उन्होंने कहा था कि शास्त्रीय और आधुनिक दोनों संगीत सुनता हूं। दर्द से भरे गाने सुनता हूं। मीरा के गीतों में बड़ा दर्द है। अटल बिहारी वाजपेयी राष्ट्र की विफलता को अपनी विफलता मानते थे। वे चाहते थे कि एक ऐसा देश बनाएं जो दक्षिण एशिया के उन्नत राष्ट्रों की कतार में हो। अटल बिहारी को कभी-कभी निराशा भी हो जाती थी। वे एक बार अपने संसदीय जीवन से ऊब गए थे। उन्होंने कहा कि वे नेता न होते तो पत्रकार ही होते।
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