नई दिल्ली. दूध की सप्लाई करने वाली देश की 2 सबसे बड़ी कंपनियों अमूल और मदर डेयरी ने दूध की कीमतों में मंगलवार को बढ़ोतरी का ऐलान किया था. यह वृद्धि बुधवार 17 अगस्त से लागू हो गई है. अमूल और मदर डेयरी दोनों ने ही दूध की कीमत 2 रुपये बढ़ाई है.
इससे सीधे तौर पर तो आम आदमी की जेब पर बोझ बढ़ेगा ही लेकिन अप्रत्यक्ष रूप से भी यह परेशानी का सबब बनेगा. दरअसल, दूध महंगा होने से इसस बनने वाले कई प्रोडक्ट्स की इनपुट लागत बढ़ जाएगी. अब इस बढ़ोतरी के बोझ से निपटने के लिए कंपनियों के पास 2 विकल्प होंगे. एक यह कि वे प्रोडक्ट का साइज घटाकर कीमतों में यथास्थिति बनाए रखें या फिर उत्पादों की कीमतें बढ़ा दें.
किन उत्पादों की कीमतें बढ़ सकती है?
दूध की कीमतों में इजाफे के बाद उससे बनने वाले प्रोडक्ट्स महंगे हो सकते हैं. इसमें दही, घी, आइसक्रीम, कुछ चॉकलेट्स, लस्सी, पनीर, बटर, योगर्ट व ड्राई मिल्क शामिल हैं. इसके अलावा वे उत्पाद भी महंगे हो सकते हैं जो पूरी तरह दूध से नहीं बनते लेकिन उनमें दूध का इस्तेमाल होता है. जैसे फ्रूट शेक, खीर व मिठाइयां आदि.
क्या हैं नई कीमतें?
500 मिलीलीटर अमूल गोल्ड अब 31 रुपये, अमूल ताजा 25 रुपये और अमूल शक्ति 28 रुपये का मिलेगा. बात करें मदर डेयरी की तो 1 लीटर फुल क्रीम 61 रुपये, टोंड 51 रुपये, डबल टोंड 45 रुपये और गाय का दूध 53 रुपये का मिलेगा.
क्यों बढ़ रही हैं कीमतें?
अमूल ब्रांड के तहत दूध बेचने वाली गुजरात को-ऑपरेटिव मिल्क मार्केटिंग फेडरेशन ने बताया कि बढ़ती महंगाई को देखते हुए कीमतों में वृद्धि करना जरूरी हो गया था. पिछले साल के मुकाबले मवेशियों का चारा 20 फीसदी महंगा हो चुका है, जबकि किसानों को भी हम पिछले साल से 8-9 फीसदी ज्यादा भुगतान कर रहे हैं. ऐसे में हमारे पास कीमतें बढ़ाने के अलावा कोई दूसरा विकल्प नहीं था. उधर मदर डेयरी ने भी बढ़ती लागत का हवाला देते हुए ही दूध के दामों में वृद्धि को उचित ठहराया है. मदर डेयरी के अनुसार, कच्चे दूध की कीमत में 10-11 फीसदी का इजाफा हो चुका है. गुजरात को-ऑपरेटिव मिल्क मार्केटिंग फेडरेशन कहती है कि वे दूध व उसके उत्पाद से होने वाली हर 1 रुपये की कमाई में से 80 पैसा उत्पादकों को देती है.
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