मुंबई. कोरोना वायरस के ‘ओमिक्रॉन’ स्वरूप के कारण उत्पन्न चिंताओं के बीच महाराष्ट्र राज्य आपदा प्रबंधन प्राधिकरण ने मंगलवार रात को कहा कि ‘जोखिम वाले’ देशों से राज्य आने वाले यात्रियों को अनिवार्य रूप से सात-दिन तक संस्थागत पृथक-वास में रहना होगा. केंद्र सरकार ने ‘जोखिम वाले’ देशों की सूची की घोषणा की है. अपडेटेड लिस्ट के अनुसार, ‘जोखिम वाले’ देशों में यूरोपीय देश, ब्रिटेन, दक्षिण अफ्रीका, ब्राजील, बोत्सवाना, चीन, मॉरीशस, न्यूजीलैंड, जिम्बाब्वे, सिंगापुर, हांगकांग और इज़राइल हैं. प्राधिकरण के दिशा-निर्देशों के मुताबिक, ऐसे यात्रियों की राज्य में पहुंचने के दूसरे, चौथे और सातवें दिन आरटी-पीसीआर जांच भी होगी.
उसमें कहा गया है कि यदि कोई यात्री संक्रमित पाया जाता है, तो उसे अस्पताल में भर्ती किया जाएगा. अगर उसकी रिपोर्ट निगेटिव आती है तो भी उसे सात दिन के लिए घर में पृथक-वास में रहना होगा. राज्य सरकार ने कहा है कि केंद्र द्वारा 28 नवंबर को ‘ओमिक्रोन’ के मद्देनजर जारी किए गए यात्रा दिशानिर्देश, ‘न्यूनतम प्रतिबंध’ के तौर पर काम करेंगे.
‘द.अफ्रीका व उच्च जोखिम वाले देशों से महाराष्ट्र आये यात्री संक्रमित मिले’
दक्षिण अफ्रीका और अन्य उच्च जोखिम वाले देशों से महाराष्ट्र पहुंचे छह यात्री कोरोना वायरस से संक्रमित पाये गए हैं और उनके नमूने जीनोम अनुक्रमण के लिए भेज दिये गए हैं. सार्स-सीओवी2 के नये स्वरूप ओमीक्रोन को लेकर उत्पन्न चिंताओं के बीच महाराष्ट्र के स्वास्थ्य विभाग ने मंगलवार को यह जानकारी दी.
दक्षिण अफ्रीका और अन्य देशों से आए ये व्यक्ति मुंबई महानगर पालिका, कल्याण-डोंबिवली, मीरा-भयंदर और पुणे नगर निगम सीमाओं में मिले हैं. नाइजीरिया से पहुंचे दो यात्री पुणे से सटे पिंपरी-चिंचवाड़ निगम क्षेत्र में मिले हैं.
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