भारत और इंग्लैंड के बीच टेस्ट सीरीज का पांचवां मुकाबला कोरोना के कारण रद्द हो गया. इसके बाद सीरीज के परिणाम को लेकर कोई फैसला नहीं किया गया. वहीं इंग्लैंड की मीडिया ने भारत को विलेन बनाना शुरू कर दिया. इस पूरे विवाद की शुरुआत हुई थी 31 मई से.
पिछले हफ्ते भारत के कप्तान विराट कोहली और टीम के हेड कोच रवि शास्त्री ने लंदन में एक बुक लॉन्च में हिस्सा लिया था. यह किताब शास्त्री ने ही लिखी थी. इन दोनों के अलावा कोचिंग स्टाफ के कुछ अन्य सदस्य भी इस इवेंट में शामिल थे.
पांच सितंबर को शास्त्री का रेपिड एंटीजन टेस्ट पॉजिटिव आया था. वहीं अगले दिन वह आरटीपीसीआर टेस्ट में भी पॉजिटिव पाए गए थे. टीम के बॉलिंग कोच भरत अरुण और फील्डिंग कोच आर श्रीधर की रिपोर्ट भी पॉजिटिव आई और इन सभी को आइसोलेट किया गया था. सात सितंबर को खबर आई कि बीसीसीआई शास्त्री और कोहली के बुक लॉन्च इवेंट में जाने से नाराज थे. कहा गया कि बोर्ड ने दोनों से इसपर सफाई मांगी थी.
नौ सितंबर को भारतीय सहयोगी स्टाफ के एक और सदस्य- सहायक फिजियोथेरेपिस्ट योगेश परमार (Yogesh Parmar) के कोविड-19 पॉजिटिव पाए गए. इसके बाद दोनों टीमों के क्रिकेट बोर्ड्स की बैठक हुई. टीम के खिलाड़ियों का कोरोना टेस्ट हुआ और अभ्यास सत्र रद्द कर दिया गया.
10 सितंबर की सुबह पहले यह खबरें आई थी कि मैच का पहला दिन का खेल रद्द हो सकता है. साथ ही कहा गया कि खिलाड़ियों को इस बारे में जानकारी नहीं थी कि मैच का क्या होगा. दोपहर तक मैच के रद्द होने की पुष्टि दोनों बोर्ड ने की.
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