बर्ड फ्लू को लेकर पड़ोसी राज्यों से आ रही खबरों के बाद राजधानी में प्रशासन ने मुर्गियों और बत्तखों का रिकार्ड अपडेट करते हुए जांच शुरू कर दी है। रायपुर के 85 पोल्ट्री फॉर्म में मुर्गियों-बत्तखों और बटेर-टर्की को मिलाकर 29.66 लाख पक्षियों का पता चला है, जिनमें से अधिकांश पॉल्ट्री फार्म में हैं। इनकी संख्या 1.90 करोड़ है, लेकिन सबसे ज्यादा मुर्गी-बत्तख और खपत राजधानी में ही है। प्रदेश में 7 सरकारी के साथ 6087 पॉल्ट्री फॉर्म हैं। प्रशासन ने पॉल्ट्री फार्म पर नजर रखने के लिए कलेक्टर-एसएसपी की निगरानी में रैपिड एक्शन टीम बना दी है। इस टीम ने जांच शुरू कर दी है, लेकिन अब तक राजधानी समेत प्रदेश में किसी भी पक्षी में बर्ड फ्लू के संकेत नहीं मिले हैं।
मध्यप्रदेश, हरियाणा, गुजरात समेत कुछ प्रदेश में बर्ड फ्लू के लक्षण मिले हैं। मध्यप्रदेश की सीमा छत्तीसगढ़ से लगी है, इसलिए यहां प्रशासनिक अमला ज्यादा अलर्ट है। शासन ने पॉल्ट्री फार्म, जू व पक्षी विहार की निगरानी शुरू कर दी है। राजधानी में नंदनवन का पक्षी विहार सावधानी के तौर पर 15 दिन के लिए बंद भी कर दिया गया है। बर्ड फ्लू को नियंत्रण में रखने के लिए प्रदेश में भी गिनती हुई है, जिसमें 1 करोड़ 87 लाख 12 हजार पक्षी (अधिकांश मुर्गियां) हैं। रायपुर के अलावा राजनांदगांव में 20.93 लाख, दुर्ग में 15.74 लाख, बालोद में 11.13 लाख, महासमुंद में 11.12 लाख और बस्तर में 10.70 लाख पॉल्ट्री हैं।
पशुधन विकास विभाग के अफसरों ने बताया कि प्रवासी पक्षियों के संपर्क में आने वाले पक्षियों के साथ-साथ सावधानी के तौर पर राजधानी-प्रदेश के सभी पोल्ट्री फॉर्म को अलर्ट कर दिया गया है। बर्ड फ्लू को लेकर केंद्र सरकार की गाइडलाइन के पालन के लिए कहा गया है। जहां 1.87 करोड़ से ज्यादा मुर्गे-मुर्गियों समेत बतख व अन्य पॉल्ट्री हैं। इनमें से सभी जिलों में सैंपल लिए जा रहे हैं, उन्हें जांच के लिए पुणे लैब भेजा जा रहा है। अभी तक किसी में भी इसके लक्षण नहीं मिले हैं।
अब नहीं आएंगे प्रवासी पक्षी इसलिए खतरा भी ज्यादा नहीं
पशु धन विभाग के अफसरों व डॉक्टरों का कहना है कि प्रदेश में कुछ-कुछ जगह से प्रवासी पक्षी आते हैं, लेकिन सभी लौट चुके हैं या लौट रहे हैं। यहां के पक्षी उनके संपर्क में आते हैं, लेकिन अब तक किसी स्थानीय पक्षी में कोई संक्रमण नहीं मिला है।
सड़क पर उल्लू मरा मिला, अफवाहें
समता कॉलोनी में गुरुवार की शाम सड़क पर उल्लू मरा मिलने के बाद बर्ड फ्लू को लेकर अफवाहें उड़ने लगी। कॉलोनी के कुछ लोगों ने स्वास्थ्य विभाग के अफसरों से भी इस बारे में शिकायत की।
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