रायपुर। छत्तीसगढ़ विधानसभा के शीतकालीन सत्र के 5वें दिन सदन में अविभाजित मध्यप्रदेश के पूर्व मंत्री झितरुराम बघेल श्रद्धाजंलि दी गई। इसके बाद सदन की कार्यवाही शुरू हुई। बीजेपी विधायक शिवरतन शर्मा ने प्रदेश में बढ़ते अपराध और बेरोजगारी का मुद्दा शून्यकाल में उठाया। शिवरतन ने इस मामले में स्थगन के जरिये चर्चा कराने की मांग की।
कहा कि प्रदेश में बेरोजगारी बहुत है। बेरोजगारी की वजह से भी अपराध बढ़ रहे हैं। कई विभागों में पद खाली है। पुलिस विभाग में ही 50 हजार पद खाली है। नेताप्रतिपक्ष धरमलाल कौशिक ने भी प्रदेश में बेरोजगारी का मामला उठाया। कौशिक ने सरकार पर अपना वादा पूरा नहीं करने का आरोप लगाया।
आरोप लगाते हुए चर्चा की मांग की। इस पर सभापति द्वारा स्थगन प्रस्ताव को अस्वीकार करने पर विपक्ष ने जमकर शोरशराबा किया। जिसके चलते सभापति ने सदन की कार्यवाही 5 मिनट के लिए स्थगित की। इससे पहले कृष्णमूर्ति बांधी ने विद्या मितानों को अतिथि शिक्षकों के रूप में नियुक्ति का मामला उठाया।
पूछा कि विद्या मितानिनों को अतिथि शिक्षक के रूप में रखा गया है की नहीं? यदि हां तो पिछले इस वित्तीय वर्ष में कितने विद्या मितानों को अतिथि शिक्षक के रूप में नियुक्ति दी गई है? सवाल पर आदिम जाति विकास मंत्री प्रेमसाय सिंह टेकाम ने जवाब दिया।
बताया कि वर्ष 2019 में 1832 विद्या मितान शाला में नियमित शिक्षकों की व्यवस्था होने तक, अतिथि शिक्षकों के रूप में कार्य करने का आदेश जारी किया गया है। उन्हें नियुक्ति नहीं दी गई है। प्रदेश में 14580 पदों पर शिक्षकों की भर्ती की जा रही है। नियुक्ति के आदेश जारी नहीं किए गए हैं।
इसलिए पदभार ग्रहण करने का प्रश्न उपस्थित नहीं होता। इस मुद्दे पर विपक्षी सदस्य ने मंत्री को घेरते हुए कहा कि जब आपने इनसे वादा किया है तो इसे पूरा करने में लेटलतीफी क्यों कि जा रही है। नेताप्रतिपक्ष धरमलाल कौशिक ने विद्यमितानों के 2 माह से धरने पर बैठे होने की जानकारी दी। मंत्री के जवाब से असंतुष्ट भाजपा सदस्यों और जनता कांग्रेस से धर्मजीत सिंह ने सदन से वर्कआउट किया।
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