बीजापुर जिले के नैमेड़ गांव के राणापारा में रविवार शाम छह बजे से सोमवार दोपहर तीन बजे तक एक मूक-बधीर की लाश 132 केव्ही के बिजली के तारों पर लटकती रही। युवक रविवार की शाम छह बजे बिजली की चपेट में आ गया था। लोगों ने बताया कि स्थानीय अफसरों का कहना था कि 132 केव्ही की लाइन को बारसूर से बंद करवाना पड़ता है, ऐसे में इसे तत्काल बंद करवाना संभव नहीं है।
अफसरों को लाइन बंद करवाने में 20 घंटे का समय लगा। जिस मूक बधिर की मौत करंट से हुई है वह मूलत: कांकेर के चावड़ गांव का रहने वाला है और युवक का नाम देवानंद उइके है। देवानंद अपने परिवार के सदस्यों के साथ नैमेड़ आया था और रविवार को घर से टहलने की बात कहकर निकला था। इसके कुछ समय बाद देवानंद गांव के पास में ही लगे 132 केव्ही के टॉवर से गये तारों में चिपका मिला। देवानंद वहां कैसे पहुंचा और हादसे का शिकार कैसे हो गया इसकी जांच पुलिस कर रही है।
जानकारी के मुताबिक, कांकेर जिले के चावड़ा ग्राम निवासी देवानंद उइके (31) अपने रिश्तेदार के घर नैमेड आया हुआ था। बताया जा रहा है कि रविवार देर शाम करीब 6 बजे वह घर के पास लगे हाइटेंशन लाइन के टावर पर चढ़ गया और करीब 60 फीट ऊपर से छलांग लगा दी। इस दौरान वह तार में फंस गया और उसकी मौके पर ही मौत हो गई।
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