रायपुर. राजधानी रायपुर में अब लॉकडाउन नहीं होगा। दुकानों के खुलने और बंद होने के समय में भी जल्द परिवर्तन किया जाएगा। यानी समय-सीमा बढ़ाई जाएगी, ताकि किसी भी प्रकार की व्यावसायिक गतिविधि में बाधा न आए। बुधवार को रायपुर कलेक्टोरेट में रायपुर जिले के प्रभारी मंत्री एवं कृषि मंत्री रविन्द्र चौबे की अध्यक्षता में हुई बैठक में यह अहम फैसला लिया गया।
अब यह पूरी तरह से स्पष्ट हो गया है कि रायपुर जिले में सैंपलिंग, टेस्टिंग, कांटेक्ट ट्रेसिंग व कोरोना को मात देने वाले दो अहम नियम मॉस्क और सोशल-फिजिकल डिस्टेंसिंग के दम पर ही कोरोना से जंग जीतने की तैयारी है। हालांकि रविवार को पूर्ण लॉकडाउन यथावत रहेगा।
कोरोना काल में यह पहली दफा है जब रायपुर से दोनों सांसद, सभी विधायकों, महापौर, जिला पंचायत सीईओ बैठक में मौजूद रहे। सभी को अपनी-अपनी बात रखने का पूरा अवसर मिला। सूत्र बताते हैं कि लॉकडाउन न बढ़ाया जाए, यह फैसला सभी की सहमति से लिया गया है। कोई भी इसके विरोध में नहीं था।
6 अगस्त को जिला कलेक्टर द्वारा व्यापारियों से चर्चा कर दुकानों के खुलने और बंद करने का समय तय हुआ था, जिस पर 15 दिन के बाद पुन: विचार किया जाना है, जो गुरुवार को समाप्त हो रहा है। बहुत हद तक संभव है कि गुरुवार को नई गाइडलाइन जारी हो जाए।
रायपुर में कोरोना को हराने के लिए इंतजाम
3460 बेड- कोविड अस्पतालों में।
4000- कोविड केयर सेंटर में बेड।
अंतिम संस्कार- 8 स्थानों पर किया जा रहा है, नए श्मशान घाटों को चिन्हित किया जा रहा है। कोरोना मरीज के अंतिम संस्कार में सिर्फ परिवार के २ सदस्य जाएंगे। सामान्य व्यक्ति की मृत्यु में २० लोग ही।
मॉस्क की अनिवार्यता- मॉस्क की अनिवार्यता जारी रहेगी। नगर निगम को सख्ती के साथ निर्देशों का पालन करने कहा गया।
जागरूकता के लिए मदद- जनप्रतिनिधियों, एनजीओ, एनसीसी, एनएसएस, स्वयं सेवी संगठनों, दान दाताओं, क्लबों की मदद जनजागरूकता में ली जाएगी।
निजी अस्पतालों का सहयोग- वर्तमान में ७ निजी अस्पतालों द्वारा अस्पताल, होटल, होम आइसोलेशन के माध्यम से मरीजों का इलाज किया जा रहा है। स्वास्थ्य विभाग द्वारा भी ५० मरीज होम आइसोलेशन में हैं।
ये जरूरतें की गई महसूस
– प्राइवेट फीवर क्लीनिक और प्राइवेट ओपीडी से कोविड लक्षण वाले मरीजों की जानकारी अनिवार्य तौर पर स्वास्थ्य विभाग को मिलनी चाहिए।
– अतिरिक्त शासकीय अमले की आवश्यकता है क्योंकि १४ दिन फील्ड में कार्य के बाद ७ दिवस क्वारंटाइन किया जाना होता है।
– मेडिकल उपकरणों, स्वास्थ्य अधोसंचरना की बढ़ाने के लिए दान-दाताओं/जनप्रतिनिधियों के सहयोग की आवश्यकता है, जो मिलनी चाहिए।
बैठक में यह रहे मौजूद
सांसद सुनील सोनी, सांसद छाया वर्मा। विधायक धनेंद्र साहू, विकास उपाध्याय, सत्यनारायण शर्मा, बृजमोहन अग्रवाल, कुलदीप जुनेजा, अनिता शर्मा, प्रमोद शर्मा, महापौर एजाज ढेबर, जिला पंचायत अध्यक्ष डोमेश्वरी वर्मा।
लॉकडाउन नहीं बढ़ेगा। डर या अन्य किन्हीं वजहों से टेस्ट करवाने से लोग बच रहे हैं। मगर, उन्हें जागरूक करने के लिए एनजीओ और अन्य संगठनों की मदद ली जाएगी।
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