पाकिस्तान के सिंध प्रांत से एक दिल दहला देने वाले मामले से पर्दा उठा है। सिंध प्रांत के खैरपुर जिले में एक बच्चे के साथ दुष्कर्म मामले का भांडाफोड़ हुआ है। स्कूल के एक रिटायर्ड शिक्षक पर नाबालिग बच्चियों के साथ, जिन्हें वो अपने घर में ट्यूशन देता था, दुष्कर्म करने का आरोप है।
हालांकि शुक्रवार को ये शिक्षक पकड़ लिया गया है, सिंध पुलिस ने ट्विटर पर इसकी जानकारी दी है। सुक्कुर क्षेत्र के डिप्टी इंस्पेक्टर जनरल फीदा हुसैन मस्तोई ने बताया कि पुलिस ने संदिग्ध के घर पर छापा मारा था लेकिन वो किसी तरह बच गया था। पुलिस ने इस बात की पुष्टि की कि ये आरोपी खैरपुर में बच्चों के साथ दुष्कर्म करता था।
ट्विटर पर एक फोटो वायरल हुई थी, जिसमें ये शख्स एक नाबालिग लड़के के साथ दुष्कर्म करता नजर आ रहा था, जिसके बाद वहां के लोगों और सामाजिक कार्यकर्ताओं ने पीड़ित को न्याय दिलाने के लिए जल्द आरोपी की गिरफ्तारी की मांग की। दो बच्चों के माता-पिता की ओर से आरोपी शिक्षक पर दो एफआईआर दर्ज की गई, जिसमें बलात्कार और आतंकवादी विरोधी कानून 1997 की धारा सात के तहत मुकदमा दर्ज किया गया।
डीआईजी ने बताया कि कोरोना वायरस महामारी की वजह से सरकार स्कूल बंद होने के कारण ये बच्चे उस शिक्षक के घर पढ़ने जाते थे। आरोपी टीचर हाल ही में सरकारी नौकरी से रिटायर हुआ है और इस पर अपने शिष्य का बलात्कार करने का आरोप है। इस आरोपी टीचर के यहां पढ़ने वाले छात्रों की संख्या दस से 12 साल है।
रिपोर्ट्स बताती हैं कि इस टीचर पर अन्य अपराधों को लेकर भी चार्जशीट दाखिल की हुई है। शख्स पर दो लोगों की हत्या का आरोप है, हालांकि ये अभी सिद्ध नहीं हुआ है। सामाजिक कार्यकर्ताओं ने इस बात पर मजबूती से एक्शन लेने की मांग की है। प्रोफेसर मुस्तक मिरानी ने फेसबुक पर ने लोगों से उस बच्चे की फोटो ना शेयर करने की अपील की है, उन्होंने लिखा कि ऐसा करने से बच्चे की मानसिकता पर गहरा असर पड़ेगा।
एक फेसुबक यूजर ने लिखा कि इस तरह का दुष्कर्म एक पढ़ा-लिखा इंसान कर रहा है, ऐसे में इससे बचने के लिए कानून का सहारा लेना ही चाहिए। महिलाओं के हक के लिए आवाज उठाने वाले कार्यकर्ता अमर सिंधू का कहना है कि ये शख्स केवल 132 बच्चों का बलात्कार करने का आरोपी नहीं है बल्कि इसने बच्चों को भी आपस में ऐसा करने के लिए मजबूर किया था।
एनजीओ साहिल की एक रिपोर्ट के मुताबिक मार्च में साल 2019 में पूरे देश में बच्चों के प्रति दुष्कर्म के मामले 2,846 दर्ज किए गए थे, जिसमें डाटा बताता है कि पाकिस्तान में हर दिन आठ बच्चे किसी ना किसी रूप में दुष्कर्म का शिकार होते हैं। इसमें 54 फीसदी मामले महिलाओं या लड़कियों के साथ तो वहीं 46 फीसदी मामले लड़कों के साथ किए गए हैं।
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